झारखंड के पलामू में पैराडाइज टेलर के मालिक मोहम्मद तौहीद आलम पर चलाई गई गोली के मामले में पुलिस की ओर से एक नया खुलासा हुआ है। घटना में पीड़ित की पत्नी, भांजे के अलावा चार लोगों की संलिप्तता सामने आई है। पुलिस ने आरोपियों को गिरफ्तार तो कर ही लिया है साथ ही पुलिस ने तौहीद को लगी एक गोली और चार मोबाइल फोन जब्त किए हैं।
जिले के एसपी चंदन कुमार सिन्हा ने बताया – 17 अगस्त की रात हुई गोली चलने की घटना के बाद पुलिस ने जांच तेज कर दी थी। इस कांड में मो. तौहीद आलम की पत्नी गौशिया परवीन और उसके भांजे मो. इरशाद के बीच प्रेम प्रसंग की जानकारी हुई। उनके कॉल डिटेल खंगाले गए तो पता चला कि दोनों के बीच 1 हजार 40 बार व्हाट्सएप कॉल हुआ था. मामी और भांजे के प्रेम प्रसंग की जानकारी मो. तौहीद को भी थी। तौहीद अक्सर इसका विरोध किया करते थे। तौहीद और गौशिया से दो बच्चे भी हैं। बच्चों की उम्र 12 से 14 वर्ष है।
पुलिस ने बताया कि लगातार विरोध झेलने के कारण भांजे इरशाद और मामी गौशिया ने मिलकर तौहीद को रास्ते से हटाने की योजना बनाई। इसमें मो. आरजू, जुमन, मंजर, बिलाल को शामिल किया गया। इरशाद ने कांड करने के लिए 3.50 लाख की सुपारी दी. इसके लिए बाजार से बुलेट खरीदने के लिए कर्ज के तौर पर लिए पैसे इरशाद को सुपारी में देने पड़े।
छानबीन में सामने आया है कि मो. तौहीद की हत्या करने के लिए 8 महीने पहले सुपारी दी गई थी। पैसे लेने के बाद भी मो. आरजू, जुमन, मंजर, बेलाल वारदात को अंजाम नहीं दे रहे थे। इस पर इरशाद वापस पैसे मांग रहा था। नतीजा सभी हत्या करने को तैयार हुए। प्लानिंग के तहत 17 अगस्त की रात दुकान से घर जाने के निकले मो. तौहीद को ट्रेनिंग स्कूल के समीप बाइक सवार भाड़े के बदमाशों ने पीछे से गोली मार दी। पीठ में गोली लगने के बाद तौहीद घर चले गए, वहां उन्हें गोली लगने की जानकारी हुई। इलाज के लिए एमआरएमसीएच में पहुंचे और फिर बाद में शहर के निजी अस्पताल में अपना इलाज कराया।
एसपी सिन्हा ने मीडिया से बातचीत के दौरान बताया कि मो. तौहीद पर गोली मंजर ने चलाई थी और बिलाल गाड़ी चला रहा था। घटना में शामिल अन्य अपराधियों की तलाश जारी है।