मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि प्रदेश में विकास के सभी क्षेत्रों में ध्यान दिया जा रहा है। विकास के कार्य लगातार आगे बढ़ाते रहेंगे। मध्यप्रदेश धार्मिक पर्यटन के क्षेत्र में भी पहचान बना रहा है। भगवान श्रीकृष्ण से जुड़े स्थलों का तीर्थ स्थलों के रूप में विकास किया जा रहा है। प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के वर्ष 2047 तक देश को विकसित बनाने के सपने को साकार करने के लिए मध्यप्रदेश इस संकल्प की सिद्धी में बड़ी भूमिका निभाने को तैयार है। राज्य सरकार ने निवेश प्रोत्साहन को प्राथमिकता देते हुए वर्ष 2025 को उद्योग वर्ष के रूप में मनाने का निर्णय लिया है।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव आज कुशाभाऊ ठाकरे सभागार में आयोजित मध्य भारत रत्न कार्यक्रम को संबोधित कर रहे थे। उन्होंने विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट कार्य करने वाली विभूतियों को सम्मानित भी किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव को स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया गया।
मुख्यमंत्री डॉ, यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश का सौभाग्य है कि भगवान श्रीकृष्ण को उनके गुरु सांदीपनि का सानिध्य उज्जैन में ही प्राप्त हुआ। भगवान राम ने चित्रकूट में 11 साल गुजारे, यह गर्व की बात है। भगवान श्रीकृष्ण को आचार्य सांदीपनि ने सभी वेद पुराण और विधाओं की शिक्षा दी।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश देश के मध्य में है। यहां हवाई, रेल सेवा, सड़क मार्गों का विकास हुआ है। हाइ-वे को फोरलेन में कन्वर्ट किया जा रहा है। इसके लिए उन्होंने प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी का धन्यवाद दिया।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण ने संसद में आर्थिक सर्वेक्षण-2023 प्रस्तुत किया है, जिसमें मध्यप्रदेश देश में अग्रणी राज्यों में शामिल है। मध्यप्रदेश में सामाजिक- आर्थिक क्षेत्र के नवाचारों का विशेष उल्लेख किया गया है। सर्वेक्षण में नदी जोड़ो लिंक परियोजना का भी जिक्र किया गया है। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि मध्यप्रदेश ऐसा पहला राज्य है, जहां दो नदी जोड़ो परियोजनाएं केन-बेतवा लिंक, परियोजना और काली सिंध-चंबल-पार्वती योजना का एक साथ कार्य चल रहा है। इसके लिए केंद्र सरकार द्वारा एक लाख 75 हजार करोड़ का पैकेज मंजूर किया गया है।