नई दिल्ली | पिछले एक दशक से वैज्ञानिकों द्वारा स्टडी किये जा रहे एस्टेरॉयड 1994 PC 1 के 18 18 जनवरी को पृथ्वी के पार जाने की घोषणा NASA ने ट्विटर पर की।
एस्टेरॉयड के पथ को ट्रैक करने के लिए नासा ने लिंक भी शेयर किया है।
एस्टेरॉयड नहीं है खतरनाक
इसके बड़े आकार और हमारे बेहद करीब इसका फ्लाईबाई होने की वजह से इसे संभावित रूप से ‘खतरनाक एस्टेरॉयड’ के रूप में रखा गया है। इस आकार का एक एस्टेरॉयड लगभग हर 600,000 सालों में पृथ्वी से टकराता है। लेकिन नासा ने साफ पुष्टि की है कि यह न पृथ्वी से टकराएगा न इससे किसी तरह का कोई खतरा है।
नासा ने ट्ववीट कर लिखा – नासा पृथ्वी के निकट वस्तुओं (NEO) को लगातार खोजने, ट्रैक करने और निगरानी करने के लिए हर रात आसमान देखता है, और नए खोजे गए एस्टेरॉयड पर सभी डेटा सार्वजनिक रूप से उपलब्ध हैं। नासा के PlanetaryDefense कोर्डिनेशन ऑफिस के लिए एक और सामान्य दिन।
Near-Earth #asteroid 1994 PC1 (~1 km wide) is very well known and has been studied for decades by our #PlanetaryDefense experts. Rest assured, 1994 PC1 will safely fly past our planet 1.2 million miles away next Tues., Jan. 18.
Track it yourself here: https://t.co/JMAPWiirZh pic.twitter.com/35pgUb1anq
— NASA Asteroid Watch (@AsteroidWatch) January 12, 2022
नासा ने इस संबंध में एक सूचना जारी करते हुए लिखा की “तथ्य: कम से कम अगले 100 सालों तक किसी भी एस्टेरॉयड से कोई ज्ञात खतरा नहीं है।”
हमारा Planetary Defense coordination office लगातार एस्टेरॉयड और अन्य निकट-पृथ्वी वस्तुओं से संभावित खतरों की निगरानी करता है।
FACT: There is no known threat from any asteroid for at least the next 100 years.
Our Planetary Defense Coordination Office constantly monitors potential threats from asteroids and other Near-Earth Objects. Follow @AsteroidWatch for updates. https://t.co/2Ym48RH37k
— NASA (@NASA) January 13, 2022
एक अच्छी टेलिस्कोप से यह विशाल एस्टेरॉयड दिखाई दे सकता है। इसके अलावा कोई भी इस एस्टेरॉयड को अपने गैजेट्स पर NASA Eyes on Asteroid पोर्टल के माध्यम से देख सकता है। वर्चुअल टेलीस्कोप प्रोजेक्ट की वेबसाइट पर भी इसे ट्रैक किया जा सकता है।